हिमाचल प्रदेश के चंबा जिला के भरमौर में बन्नी माता नाले पर पुल नहीं होने से रोजाना स्कूली बच्चे जान जोखिम में डालकर स्कूल पहुंचते है। बारिश में जब नाला उफान पर होता है तब गांव का कोई व्यक्ति बच्चों को पीठ में उठाकर नाला पारा कराता है। मगर अब तक किसी भी सरकार ने नाले पर पुल लगाने की जहमत नहीं उठाई। मौजूदा समय में इस क्षेत्र से विधायक डॉ. जनकराज और सांसद कंगना रनोट है। लेकिन किसी की भी नजर नाले के कारण रोजाना लोगों को झेलनी पड़ रही परेशानी पर नहीं पड़ी। व्यवस्था परिवर्तन वाली कांग्रेस सरकार और लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह भी इस ओर ध्यान नहीं दे रहे। इससे भरमौर के मांधा स्कूल के बच्चों के साथ साथ यहां से रोजाना आने जाने वाले लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। यही नहीं जब नाला उफान पर होता है तो उस दौरान बच्चे स्कूल नहीं पहुंच पाते। क्षेत्र के लोग अर्से से नाले पर पुल लगाने की मांग कर रहे हैं। मगर सरकार और प्रशासन के कानों पर जूं तक नहीं रेंग रही है। 25 से ज्यादा छात्र रोजाना नाला पार करते हैं इस नाले से क्षेत्र के 25 से ज्यादा छात्र-छात्राएं मांधा सीनियर सेकेंडरी स्कूल जाते हैं। हल्की बारिश होने पर ही नाले का जल स्तर बढ़ जाता है। आज सुबह (बुधवार) भी अचानक नाले का जल स्तर बढ़ा। इसके गांव के लोगों ने पीठ पर उठाकर नाला पार कराया। ऐसे में बच्चों के साथ कभी भी अनहोनी हो सकती है। पहले भी एक बच्ची बही, मशक्कत के बाद ग्रामीणों ने बचाया स्थानीय लोगों के अनुसार, पहले भी कई बार हादसे होने से बाल-बाल बचे हैं। एक स्कूली छात्रा कुछ दिन पहले भी नाले में बह गई थी, जिसे स्थानीय लोगों ने कड़ी मशक्कत के बाद बचाया था। इसी नाले से होकर बन्नी माता मंदिर के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु भी पहुंचते हैं। फिर भी इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा। सांसद-विधायक से इन लोगों ने पुल लगाने की मांग की वार्ड पंच रमेश कुमार, संतोष कुमारी, किशोरी लाल, मुंशी राम, पिंकी देवी, अशोक कुमार और रजत कुमार ने स्थानीय लोगों ने सांसद कंगना और विधायक जनकराज से जल्द नाले पर पुल लगाने की मांग की है। यहां देखे कैसे जान जोखिम में डालकर नाला पार करते हैं स्कूली बच्चे और स्थानीय लोग…

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