{महिमा गौतम -कुल्लू } आपदा जागरूकता दिवस” ज़िला के सभी सरकारी व गैर सरकारी स्कूलों और अन्य संस्थानों जैसे आईटीआई, नर्सिंग संस्थानों और पॉलिटेक्निक संस्थान में मनाया। आज जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण, कुल्लू के द्वारा 4 अप्रैल 1905 में कांगड़ा में भूकंप से हुई त्रासदी से सीख लेते हुए “आपदा जागरूकता दिवस” ज़िला के सभी सरकारी व गैर सरकारी स्कूलों और अन्य संस्थानों जैसे आईटीआई, नर्सिंग संस्थानों और पॉलिटेक्निक संस्थान में मनाया। इस दिन की याद में और विभिन्न स्कूलों में जागरूकता फैलाने के लिए विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए गए जिसमें मॉक ड्रिल्स करवाई गई, स्किट प्रतिस्पर्धा और भाषण प्रतियोगिता का भी आयोजन किया गया। इस श्रृंखला में पॉलिटेक्निकल संस्थान, सेऊबाग में मॉक ड्रिल और जागरुकता अभियान चलाया गया जिसमें भूकंप के दौरान विभिन्न सावधानियों को बरतने के तरीकों का विस्तृत विवरण दिया गया तथा प्राथमिक उपचार के तरीकों को भी बताया गया। इस कार्यक्रम में इस शिक्षण संस्थान के लगभग 500 से अधिक विद्यार्थियों ने भाग लिया तथा अध्यापकों ने भी इसमें सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित की। ज़िला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के समन्वयक, प्रशांत ने कहा कि आपदाओं का खतरा 1905 से भी ज्यादा है और नुकसान होने की संभावना उससे भी ज्यादा। इसलिए हर एक व्यक्ति को आपदा प्रबंधन पर अधिक गौर करने की जरूरत है। उन्होंने यह भी कहा की प्रत्येक परिवार के सदस्य को प्राथमिक उपचार आना चाहिए तथा हर घर में इमरजेंसी किट जरूर होनी चाहिए। मॉकड्रिल कंपनी कमांडर, 7 वी वाहिनी, कमल किशोर भंडारी के नेतृत्व में की गई। इस कार्यक्रम में इसके अतिरिक्त प्रिंसिपल इंजीनियर नीरज उप्पल, विभागाध्यक्ष इलेक्ट्रिकल इंजीनियर बी.डी.अब्रॉल, इंजीनियर सतीश मालपा, इंजीनियर लोकेश शर्मा सहित अन्य प्राध्यापक मौजूद थे।