हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले में पौंग झील के किनारे हो रही अवैध बाड़बंदी और खेती का मुद्दा अब राजनीतिक हलकों में चर्चा का विषय बन गया है। गुलेर और नंदपुर के समीप स्थित पौंग झील में वन्य प्राणी विभाग की उपेक्षा से स्थानीय लोग परेशान हैं। गुलेर और गठूत्तर पंचायतों के लोग अपनी समस्याओं को लेकर कांग्रेस विधायक कमलेश ठाकुर के पास जल शक्ति विभाग के रेस्ट हाउस देहरा में पहुंचे और अपनी शिकायतें दर्ज करवाई। ग्राम प्रधान ठाकुरदास की अगुआई में पंचायत के लोग उपस्थित विधायक के पास पहुंचे। जिन्होंने पौंग झील के किनारे हो रहे अवैध कब्जों और खेती के खिलाफ आवाज उठाई। ग्रामीणों ने अधिकारियों पर लगाए आरोप स्थानीय लोगों ने बताया कि कुछ रसूखदार व्यक्तियों ने पौंग झील के प्रतिबंधित क्षेत्रों में अवैध बाड़बंदी कर रखी है। इन लोगों ने कई बार वन्य प्राणी विभाग के अधिकारियों से शिकायत की। लेकिन अब तक कोई प्रभावी कदम नहीं उठाया गया। ग्रामीणों का आरोप है कि ये अवैध बाड़बंदियां उनके पशुओं के चरने में बाधा डाल रही हैं। इसके साथ ही, जब वे इन कब्जों के बारे में पूछते हैं तो उन्हें मारपीट की धमकी दी जाती है। इसके अलावा, कुछ लोग पौंग झील के किनारे की भूमि पर अवैध रूप से खेती भी कर रहे हैं। जिससे आस पास के पारिस्थितिकी तंत्र पर प्रतिकूल असर पड़ रहा है। विधायक ने ग्रामीणों को दिया आश्वासन ग्रामीणों ने देहरा विधायक कमलेश ठाकुर से अपील की कि पौंग झील पर हो रही अवैध खेती और बाड़बंदी को हटवाया जाए। उन्होंने यह भी कहा कि यदि यह स्थिति जस की तस बनी रही, तो न केवल उनका जीवन प्रभावित होगा, बल्कि पर्यावरण पर भी इसके गंभीर परिणाम हो सकते हैं। विधायक कमलेश ठाकुर ने ग्रामीणों की समस्याओं को गंभीरता से सुना और उन्हें आश्वासन दिया कि वह इस मुद्दे को सुलझाने के लिए शीघ्र कदम उठाएंगी। उन्होंने वन्य प्राणी विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिया कि इस मामले की तुरंत जांच की जाए और अवैध कब्जों और बाड़बंदियों को हटवाने की कार्रवाई की जाए। अधिकारियों ने कही कार्रवाई की बात विधायक कमलेश ठाकुर ने यह भी कहा कि उनके द्वारा उठाए गए इस मुद्दे को लेकर विभाग की लापरवाही को स्वीकार नहीं किया जाएगा और जल्द ही इस पर प्रभावी कार्यवाही की जाएगी। साथ ही, उन्होंने यह भी आश्वासन दिया कि किसी भी ग्रामीण के साथ दुर्व्यवहार या हिंसा नहीं होने दी जाएगी। इस मामले पर जब वन्य प्राणी विभाग के डीएफओ अंकित से बात की गई, तो उन्होंने कहा कि जल्द ही मौके पर जाकर इस समस्या का निरीक्षण करने और उचित कार्रवाई करने की बात कही। उन्होंने यह भी कहा कि पौंग झील के किनारे हो रही अवैध खेती और बाड़बंदी को हटवाना उनकी प्राथमिकता है और इस दिशा में जल्द ही कार्रवाई की जाएगी।