बेंगलुरु में एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर को झोलाछाप डॉक्टर के दवा लेना महंगा पड़ गया। एक तरफ तो उस झोलाछाप डॉक्टर ने उसे इलाज के नाम पर 48 लाख की दवा दी। इसके बावजूद दवा लेने से उसकी किडनी को भी नुकसान पहुंचा है। 

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