हिमाचल प्रदेश के राजस्व, बागवानी, जनजातीय विकास एवं जन शिकायत निवारण मंत्री जगत सिंह नेगी ने दो दिवसीय राष्ट्रीय जनजातीय उत्सव और चार दिवसीय राज्य स्तरीय किन्नौर महोत्सव का शुभारंभ किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि जनजातीय क्षेत्रों की समृद्ध संस्कृति को संरक्षित करके ही देश का समग्र विकास सुनिश्चित किया जा सकता है। कैबिनेट मंत्री ने जनजातीय गौरव दिवस पर बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने जनजातीय लोगों के उत्थान, विकास और शोषण को समाप्त करने के लिए किए गए आंदोलनों को भी याद किया। नेगी ने जोर दिया कि जनजातीय क्षेत्रों की संस्कृति, रीति-रिवाज, खान-पान और पहनावे का संरक्षण व संवर्धन आवश्यक है। उन्होंने बताया कि इस वर्ष किन्नौर में दो दिवसीय राष्ट्रीय जनजातीय उत्सव मनाया जा रहा है। इसमें तमिलनाडु, अरुणाचल प्रदेश, बिहार और उत्तराखंड जैसे राज्यों के सांस्कृतिक दल और प्रदर्शनी स्टॉल जनजातीय संस्कृति की अनूठी छटा बिखेर रहे हैं। मेलों को संरक्षण ताकि भावी पीढ़ी उठा सके आनंद नेगी ने कहा कि प्रदेश सरकार मेलों और उत्सवों के संरक्षण के लिए कदम उठा रही है, ताकि भावी पीढ़ी को हमारी प्राचीन और समृद्ध संस्कृति से परिचित कराया जा सके। उन्होंने बताया कि किन्नौर महोत्सव जिले की समृद्ध सांस्कृतिक परंपराओं का प्रतीक है और यह स्थानीय कलाकारों, शिल्पकारों व उद्यमियों को अपनी प्रतिभा प्रदर्शित करने का मंच प्रदान करता है। बेहतरीन प्रस्तुति पर विद्यार्थियों को दिए 50 हजार मंत्री ने मॉडर्न पब्लिक उच्च विद्यालय के विद्यार्थियों को उनकी बेहतरीन सांस्कृतिक प्रस्तुति के लिए 50 हजार रुपए की घोषणा की। इससे पहले, उन्होंने कार्यक्रम स्थल पर विभिन्न विभागों, जनजातीय संस्कृति की प्रदर्शनियों और किन्नौरी मार्केट का अवलोकन किया। राजस्व मंत्री ने महोत्सव के दौरान आयोजित की जा रही विभिन्न खेल प्रतियोगिताओं का भी शुभारंभ किया। स्टार नाइट का आयोजन उपायुक्त किन्नौर एवं राज्य स्तरीय किन्नौर महोत्सव के अध्यक्ष डॉ. अमित कुमार शर्मा ने राजस्व मंत्री का महोत्सव के शुभारंभ समारोह में स्वागत किया। उन्होंने महोत्सव के दौरान होने वाली विभिन्न गतिविधियों की जानकारी दी। इस अवसर पर विभिन्न सांस्कृतिक प्रस्तुतियां और स्टार नाइट का भी आयोजन किया गया, जिसमें प्रदेश और देश के कलाकारों ने अपनी कला का प्रदर्शन कर लोगों का मनोरंजन किया।
कुछ तश्वीरों से देखिए मेला