हिमाचल प्रदेश के शिमला जिले के रामपुर के सराहन में जिला स्तरीय दशहरा मेले के दूसरे दिन भारी उत्साह देखा गया। इस दौरान रामपुर, कुल्लू और किन्नौर से आए करीब डेढ़ दर्जन देवी-देवताओं ने दरबार में हाजिरी भरी, वहीं महिला मंडलों की पारंपरिक शोभायात्रा मुख्य आकर्षण रही। मेले के निर्धारित स्थान पर विराजमान इस अवसर पर देवी-देवता अपने-अपने स्थानों से वाद्ययंत्रों की थाप पर नाचते-गाते बाजार से होते हुए दरबार पहुंचे। अधिकांश देवी-देवता मंच खंडी में विराजमान रघुनाथ के सामने बैठे, जबकि कुछ मेले के निर्धारित स्थान पर विराजमान हुए। शोभायात्रा विशेष आकर्षण का केंद्र रही शनिवार को बुशहर कल्चर एंड एनवायरमेंट एसोसिएशन की पहल पर महिला मंडलों की शोभायात्रा विशेष आकर्षण का केंद्र रही। गांव-गांव से आई 27 महिला मंडलों ने पारंपरिक पोशाकों जैसे दोलू, चोली, रेस्टा, पेटीकोट और चांदी के चन्द्रहार पहनकर हाथों में तलवार लिए बाजार में झांकी प्रस्तुत की। पहाड़ी संस्कृति की पुरानी यादें हुई ताजा इस झांकी ने लोगों को पहाड़ी संस्कृति की झलक दिखाकर पुरानी परंपराओं की यादें ताजा कर दीं। शोभायात्रा के बाद महिलाओं ने दरबार में सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए। सराहन दशहरा मेला लोक संस्कृति और धार्मिक आस्था का जीवंत प्रतीक बना हुआ है।