हिमाचल के IGMC शिमला अस्पताल में मरीज से मारपीट करने वाले डॉक्टर की टर्मिनेशन का मामला तूल पकड़ रहा है। IGMC की रेजिडेंट डॉक्टर एसोसिएशन (RDA) ने इसके विरोध में आज (शुक्रवार) सामूहिक छुट्‌टी पर जाने का फैसला लिया है। हिमाचल मेडिकल ऑफिसर एसोसिएशन (HMOA) भी इनके समर्थन में आ गई है। इसी मामले में IGMC के एक डॉक्टर ने प्रधानमंत्री मोदी को पत्र लिखकर निष्पक्ष जांच की मांग की है। वहीं डॉक्टर के सामूहिक अवकाश पर जाने से आज OPD में डॉक्टर नहीं मिलेगे। मरीजों के ऑपरेशन भी नहीं हो पाएंगे। केवल आपातकालीन सेवाएं ही चलेगी। इससे पूरे प्रदेश में आज स्वास्थ्य सेवाओं पर असर पड़ेगा। मरीजों को इससे परेशानी झेलनी पड़ेगी। लिहाजा अब प्रदेशवासियों की नजरे आज RDA की कुछ देर बाद सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के साथ होने वाली मीटिंग पर टिकी है। यदि डॉक्टरों की मांगे नहीं मानी गई तो RDA अनिश्चितकालीन हड़ताल पर भी जा सकती है। वहीं स्टेट एसोसिएशन ऑफ मेडिकल एंड डेंटल कॉलेज टीचर्स (सैमडकोट) भी डॉ. राघव निरूला को टर्मिनेट करने से नाराज है। एसोसिएशन के महासचिव डॉ. पियूष कपिला ने बताया- सरकार का फैसला एक्सेप्टेबल नहीं है। एक दिन के भीतर ही जांच और कार्रवाई कर दी गई। यह नहीं पूछा कि झगड़ा स्टार्ट कहां से हुई। पूरे वीडियो उपलब्ध नहीं है। रिपोर्ट में दोनों की गलती- डॉ. कपिला डॉ. पियूष कपिला ने कहा- जांच रिपोर्ट में मरीज और डॉक्टर दोनों को गलत बोला गया। उन्होंने कहा- मरीज को सुपर स्पेशल वार्ड दे दिया, जबकि डॉक्टर को टर्मिनेट कर दिया। एक-दूसरे को क्रॉस एक्जामिन करने का मौका नहीं दिया। जिन लोगों ने कहा कि इसको (डॉक्टर) को हमारे हवाले कर दो, धमकी दी कि या तो ये खुद मर जाएगा, या फिर देश छोड़ देगा और भीड़ इकट्ठा की, उन लोगों को अब तक गिरफ्तार नहीं किया गया। डॉ. पियूष ने कहा- यह गलत कार्रवाई है। वहीं रेजिडेंट डॉक्टर एसोसिएशन भी कुछ देर में मीटिंग कर आंदोलन की रणनीति तैयार कर सकती है। वहीं HMOA के महासचिव विकास ठाकुर ने बताया कि HMOA भी RDA का समर्थन करेगी। आईजीएमसी में 22 दिसंबर को हुई थी मारपीट गौरतलब है कि 22 दिसंबर को IGMC शिमला में डॉ. राघव निरूला और मरीज के बीच मारपीट की घटना सामने आई थी। वायरल वीडियो में डॉक्टर मरीज की पिटाई करता दिखा, जबकि मरीज भी डॉक्टर पर पांव से वार करता नजर आया। वीडियो सामने आने के बाद सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने 24 घंटे के भीतर जांच रिपोर्ट और सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए थे। पुलिस भी मामले की जांच कर रही इस मामले में मरीज ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है और पुलिस अलग से जांच कर रही है। हालांकि अस्पताल का सीसीटीवी फुटेज उपलब्ध नहीं हो पाया है। पुलिस अब उस व्यक्ति से मूल (ऑरिजनल) वीडियो रिकवर करेगी, जिसने घटना का वीडियो शूट किया था। RDA ने एकतरफा कार्रवाई बताया रेजिडेंट डॉक्टरों का आरोप है कि यह कार्रवाई एकतरफा है। कार्यस्थल पर सुरक्षा, सम्मान और निष्पक्ष कार्रवाई की गारंटी के बिना काम करना मुश्किल हो गया है। डॉक्टरों की प्रमुख मांगों में दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई, सुरक्षा व्यवस्था मजबूत करना और प्रशासनिक स्तर पर स्पष्ट दिशा-निर्देश जारी करना शामिल है। डॉक्टर की टर्मिनेशन के बाद सरकार और डॉक्टरों के बीच टकराव बढ़ता जा रहा है। सोशल मीडिया पर भी लोग इस मामले में तीखी प्रतिक्रिया दे रहे हैं।

Spread the love